संजय लीला भंसाली की नजरों में अदाकारा सोनाक्षी सिन्हा अव्वल

संजय लीला भंसाली की नजरों में अदाकारा सोनाक्षी सिन्हा अव्वल

भारतीय फिल्म जगत के चर्चित निर्देशक संजय लीला भंसाली ने ओटीटी प्लेटफॉर्म नेटफ्लिक्स पर ‘हीरामंडी – द डायमंड बाज़ार’ की शानदार सफलता के बाद अदाकारा सोनाक्षी सिन्हा के अभिनय कला कौशल की तारीफ करते हुए सोनाक्षी को वैजयंतीमाला और श्रीदेवी की तरह अव्वल होने का दर्जा दिया है। सोनाक्षी सिन्हा को ‘फ़रीदान’ के चित्रण के लिए बहुत प्रशंसा मिली है, यह एक ऐसा किरदार है जो ‘हीरामंडी – द डायमंड बाज़ार’ के केंद्रीय कथानक को बुनता और आगे बढ़ाता है। फिल्म आलोचक, समीक्षक और दर्शक उनकी दोहरी भूमिका और उनकी रहस्यमय, दमदार स्क्रीन उपस्थिति से मंत्रमुग्ध हो गए हैं। उनकी अनूठी शैली और उनके प्रदर्शन में जो गहराई है, उसने फिल्म उद्योग में प्रतिभा के पावरहाउस के रूप में सोनाक्षी की स्थिति को मजबूत किया है। संजय लीला भंसाली कहते हैं “मैं सोनाक्षी की बेजोड़ स्टार पावर और व्यक्तित्व के कारण उनके साथ काम करना चाहता था। उनकी आंखों में, उनकी चाल में, उनकी संवाद अदायगी में कभी न मिटने वाली आग है। वह वास्तव में बॉलीवुड, भारतीय सिनेमा, मुख्यधारा की सर्वोत्कृष्ट स्टार हैं।”

पैन-इंडिया की फिल्म ‘विजयानंद’ का ट्रेलर आज मुंबई के पीवीआर में लॉन्च

पैन-इंडिया की फिल्म ‘विजयानंद’ का ट्रेलर आज मुंबई के पीवीआर में लॉन्च

मुम्बई। पैन-इंडिया की फिल्म ‘विजयानंद’ का ट्रेलर आज मुंबई के पीवीआर में लॉन्च किया गया ये (Kannad Film industry ) की पहली बायोपिक फिल्म है जो
विजय संकेश्वर के।जीवन।पर।बनाई गई है।विजय संकेश्वर के बेटे आनंद संकेश्वर हैं। विजय और आनंद को मिलाकर फिल्म का नाम विजयानंद रखा गया है।

विजयानंद फिल्म – पद्मश्री पुरस्कार विजेता डॉ. विजयसंकेश्वर के जीवन पर बनी बायोपिक फिल्म का ट्रेलर है जिसे लॉन्च किया गया है।
फिल्म विजयानंद का ट्रेलर https: //youtu.be/rfs0o3s4vwg पर उपलब्ध है

विजयानंद फिल्म का निर्माण VRL फिल्म प्रोडक्शन ने निर्माण की है और ऋषिका शर्मा द्वारा यह फिल्म निर्देशित है।इस फिल्म में काम करने वाले सितारे निहाल आर ,भारत बोपन्ना और अनंत नाग है। पैन इंडिया रिलीज इसे कन्नड़, ,हिंदी, ,तमिल, ,तेलुगु, मलयालम भाषा में 9 को दिसंबर 2022…को करेगा।इस फिल्म को UFOMoviez फिल्म वितरण करेगा।

पैन इंडिया की फिल्म विजयानंद का ट्रेलर को मुख्यमंत्री  बोम्मई ने बेंगलुरू में किया रिलीज

पैन इंडिया की फिल्म विजयानंद का ट्रेलर को मुख्यमंत्री बोम्मई ने बेंगलुरू में किया रिलीज

मुम्बई। पैन-इंडिया की फिल्म ‘विजयानंद’ का ट्रेलर रिलीज कर्नाटक के मुख्यमंत्री श्री बसवराज बोम्मई ने आज बेंगलुरू में लॉन्च किया।

विजयानंद फिल्म – पद्मश्री पुरस्कार विजेता डॉ. विजयसंकेश्वर के जीवन पर बनी बायोपिक फिल्म का ट्रेलर है जिसे लॉन्च किया गया है। फिल्म विजयानंद का ट्रेलर https: //youtu.be/rfs0o3s4vwg पर उपलब्ध है

विजयानंद फिल्म का निर्माण VRL फिल्म प्रोडक्शन ने निर्माण की है और ऋषिका शर्मा द्वारा यह फिल्म निर्देशित है।इस फिल्म में काम करने वाले सितारे निहाल आर ,भारत बोपन्ना और अनंत नाग है। पैन इंडिया रिलीज इसे कन्नड़, ,हिंदी, ,तमिल, ,तेलुगु,
मलयालम भाषा में 9 को दिसंबर 2022…को करेगा।इस फिल्म को UFOMoviez फिल्म वितरण करेगा।

ऋषिका शर्मा निर्देशक हैं, इस फिल्म के लिए एक इवेंट 19 नवंबर को ओरियन मॉल बैंगलोर में शाम 6 बजे हो रहा है।इसके ट्रेलर लॉन्च के लिए विभिन्न मीडिया प्रतिनिधि को निर्माता मुंबई से बेंगलुरु ले जा रहे हैं।एक बड़ी हस्ती और जीवन पर आधारित इस फिल्म के ट्रेलर लॉन्च के समय विभिन्न क्षेत्रों से कुछ लोग उपस्थित होंगे।जिसकी पुष्टि सुधा मूर्ति ने की है।निर्माता ने पत्रकारों को इस विशेष कवरेज के लिए आमंत्रित किया है।

मुम्बई से अमरनाथ का रिपोर्ट

53वें भारतीय अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव में अंतर्राष्ट्रीय प्रतिस्पर्धी वर्ग में 12 अंतर्राष्ट्रीय और तीन भारतीय फिल्में शामिल

53वें भारतीय अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव में अंतर्राष्ट्रीय प्रतिस्पर्धी वर्ग में 12 अंतर्राष्ट्रीय और तीन भारतीय फिल्में शामिल

नई दिल्ली। 53वें भारतीय अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव (इफ्फी) में 15 फिल्में प्रतिष्ठित स्वर्ण मयूर हासिल करने की दौड़ में हैं। महोत्सव का आयोजन गोवा में 20 नवंबर से 28 नवंबर, 2022 तक होगा। मन को मोह लेने वाली फिल्मों में 12 अंतर्राष्ट्रीय और तीन भारतीय फिल्में शामिल हैं, जो सौंदर्यबोध से ओतप्रोत हैं और कला के माध्यम से कोई न कोई संदेश देती हैं।

तीसरे इफ्फी में पहली बार स्वर्ण मयूर पुरस्कार दिया गया था। उसके बाद से यह पुरस्कार एशिया में सबसे प्रतिष्ठित पुरस्कार माना जाने लगा है। निर्णायक-मंडल के सामने इस वर्ष के विजेता का चुनाव करने का लगभग असंभव सा काम था। उन्हें इजराइली लेखक और फिल्म निर्देशक नदव लैपिड, अमेरिकी निर्माता जिनको गोटोह, फ्रांसीसी फिल्म-संपादक पास्कल शावान्स, फ्रांसीसी वृतचित्र निर्माता, फिल्म आलोचक और पत्रकार ज़ावियेर आगुलो बार्तूरेन तथा भारत के अपने फिल्म निर्देशक सुदीप्तो सेन जैसे महारथियों में से चुनाव करना था।

इस बार की कठिन प्रतिस्पर्धा में ये फिल्में शामिल हैं:-

परफेक्ट नंबर (2022)
https://static.pib.gov.in/WriteReadData/userfiles/image/1KWUR.jpg

यह ड्रामा पोलिश फिल्म निर्माता क्रिज्तोफ जानुसी की फिल्म है, जो नैतिकता और नश्वरता पर मंथन करती है। इसे इटली और इजराइल ने मिलकर बनाया है। फिल्म में एक युवा गणितज्ञ और उसके दूर के रिश्तेदार के बीच के सम्बन्ध को दिखाया गया है, कि कैसे वे अचानक मिलते हैं और इस रहस्यों से भरी दुनिया के बारे में, जीवन-मृत्यु के बारे में गहरे ध्यान में संलग्न होते हैं।

2. रेड शूज़ (2022)

https://static.pib.gov.in/WriteReadData/userfiles/image/2OR06.jpg

इस फिल्म को मैक्सिको के कार्लोस आइकिलमैन कायसर ने बनाया है। यह बहुत संवेदनशील और भावुक फिल्म है। यह कहानी एक किसान की है, जो एकांत में रहता है। उसे अपनी बेटी की मृत्यु का समाचार मिलता है। फिल्म धीरे-धीरे आगे बढ़ती है और दिखाती है कि किस तरह वह किसान अपनी बेटी के शव को लाने की कोशिश करता है। वह एक अपरिचित और अनजानी दुनिया में कदम रखता है। इस फिल्म को कई पुरस्कारों के लिए नामांकित किया गया था और यह वेनिस इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल में ऑडियन्स अवार्ड की दावेदार थी।

3. ए माइनर (2022)

https://static.pib.gov.in/WriteReadData/userfiles/image/361G0.jpg

1970 के दशक में ईरानी फिल्मों की नई लहर के संस्थापक सदस्य दायरूश मेह्रजुई ईरानी सिनेमा की जानी-मानी हस्ती हैं। ये महारथी फिल्म निर्माता अपनी इस फिल्म के साथ एक बार फिर इफ्फी में आये हैं। यह फिल्म एक लड़की के बारे में है, जो अपने पिता के विरोध के बावजूद संगीतकार बनना चाहती है। परिवार के सदस्यों के बीच व्याप्त जटिल रिश्तों, माता-पिता व बच्चे के बीच भिन्न-भिन्न आकांक्षाएं तथा संगीत का जादू इस फिल्म की विषयवस्तु है।

4. नो एन्ड (2021)

https://static.pib.gov.in/WriteReadData/userfiles/image/4PQT9.jpg

इस ईरानी ड्रामा में ईरान की खुफिया पुलिस की साजिशों और कारनामों को दर्शाया गया है। एक शांत ईमानदार व्यक्ति अपने घर की हिफाजत करने के लिए पुलिस से झूठ बोलता है। चीजें जटिल हो जाती हैं, जब असली खुफिया पुलिस सामने आती है। जाफ़र पनाही के सहयोगी नादिर सेईवर की दूसरी फीचर फिल्म को बुसान इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल में न्यू करंट्स अवार्ड के लिए नामांकित किया गया था। जफर पानाही को सलाहकार और संपादक के रूप में सम्मानित किया गया था।

5. मेडीटिरेनियन फीवर (2022)

https://static.pib.gov.in/WriteReadData/userfiles/image/5JRYJ.jpg

फलिस्तीनी-इजराइली लेखक-निर्देशक माहा हाज की यह फिल्म एक ब्लैक-कॉमेडी है। यह दो प्रौढ़ों की कहानी है, जो ‘कभी दोस्त-कभी दुश्मन’ बन जाते हैं। कान के ‘अन-सर्टन रिगार्ड’ प्रतिस्पर्धा में इस फिल्म को सर्वश्रेष्ठ पटकथा के लिए पुरस्कृत किया गया था। फिल्म एक आकांक्षी लेखक और एक मामूली से उचक्के के बीच अनचाहे रिश्तों के आसपास घूमती है।

6. व्हेन दी वेव्ज आर गॉन (2022)

https://static.pib.gov.in/WriteReadData/userfiles/image/670HG.jpg

यह फिल्म फिलीपीन के फिल्म निर्माता लाव डायज ने बनाई है। इस फिल्म की कहानी फिलीपीन के एक पुलिस जांचकर्ता के बारे में है, जो नैतिकता के ताने-बाने में उलझ जाता है। फिल्म में उसके अंधकरामय अतीत के बारे में दिखाया गया है, जो हमेशा उसका पीछा करता रहता है। वह जब भी चिंता और अपराधबोध से मुक्त होने की कोशिश करता है, तो उसका अतीत उसके सामने आ खड़ा होता है। लाव डायज को अपनी खुद की विधा ‘सिनेमेटिक-टाइम’ के लिये जाना जाता है (उनकी 2004 की फिल्म इवॉल्यूशन ऑफ ए फिलीपिनो फैमिली 11 घंटे की फिल्म है)। बाद में उन्होंने तय किया कि तीन घंटे में ही वे अच्छी तरह अपनी बात कह सकते हैं।

7. आई हैव इलेक्ट्रिक ड्रीम्स (2022)

https://static.pib.gov.in/WriteReadData/userfiles/image/7XLQZ.jpg

कोस्टा रिका की फिल्म निर्माता वेलेन्टीना मॉरेल ने 2022 के लोकार्नो अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव में अपनी फिल्म आई हैव इलेक्ट्रिक ड्रीम्स के लिए सर्वश्रेष्ठ निर्देशक का पुरस्कार जीता था। इस फिल्म में 16 वर्ष की एक लड़की इवा की कहानी है, जिसके माता-पिता का तलाक हो चुका है। वह अपने पिता से बहुत जुड़ी हुई है। जब वह पिता के साथ फिर से जुड़ने की कोशिश करती है, तो उसे पिता और अपने बारे में कुछ हैरान करने वाले सूत्र मिलते हैं। लोकार्नो अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव में फिल्म के रेनाल्डो एमियन को सर्वश्रेष्ठ अभिनेता और दानियाला मारिन नवारो को सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री का पुरस्कार भी मिल चुका है।

8. कोल्ड एज़ मार्बल (2022)

https://static.pib.gov.in/WriteReadData/userfiles/image/8GZML.png

अजरबैजान के फिल्म निर्देशक आसिफ रुस्तामोव की यह फिल्म क्राइम ड्रामा/साइको-थ्रिलर है। फिल्म की कहानी है कि अपनी पत्नी की हत्या करने के कारण जेल में बंद एक व्यक्ति (पिता) अचानक घर आ जाता है। फिल्म के केंद्र में एक युवा है, जिसे निर्देशक ने बदलते समाज से नाराज व्यक्ति के रूप में दिखाया है। एक संवेदनशील पेंटर और कब्र पर लगे पत्थर पर इबारत लिखने का काम करने वाला पात्र उस समय चौंक जाता है, जब उसे पता चलता है कि उसके पिता ने उसकी मां को क्यों मारा था।

9. द लाइन (2022)

https://static.pib.gov.in/WriteReadData/userfiles/image/98W0X.png

यह फिल्म फ्रांसीसी-स्विस फिल्म निर्माता उर्सुला मायर की है और बर्लिन फिल्म फेस्टिवल में गोल्डन बेयर के लिये नामांकित हुई थी। इसमें एक परिवार के आपसी बंधन की कहानी है। फिल्म में एक मां और उसकी बेटी के बीच उतार-चढ़ाव भरे रिश्तों को पेश किया गया है। फिल्म की शूटिंग स्विट्जरलैंड में की गई है और इसके माध्यम से मातृत्व तथा हिंसा के बीच के अजीबो-गरीब सम्बन्ध को दिखाया गया है।

10. सेवेन डॉग्स (2021)

https://static.pib.gov.in/WriteReadData/userfiles/image/10I03S.jpg

इस फिल्म का प्रीमियर चौथे कायरो इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल में हुआ था। यह फिल्म एक अकेले इंसान के संघर्ष की कहानी है, जो अपने सात कुत्तों को पालने के लिये तमाम समस्याओं से गुजरता है। फिल्म अर्जेन्टीना के रोड्रिगो ग्वेवरा की चौथी फिल्म है। फिल्म 80 मिनट की है तथा इन्सान और उसके पालतू जानवरों के बीच के जुड़ाव को दर्शाती है।

11. मारियाः द ओशन एंजेल (2022)

https://static.pib.gov.in/WriteReadData/userfiles/image/11THDR.jpg

यह फिल्म श्रीलंका के फिल्म निर्माता अरुणा जयवर्धने ने बनाई है। यह स्वर्ण मयूर की दावेदार दूसरी श्रीलंकाई फिल्म है। इसके पूर्व 50वें इफ्फी में लेस्टर जेम्स पेरीज की गामपेरालिया को इफ्फी में पुरस्कृत किया गया था। मारियाः दी ओशन एंजेल मछुआरों के एक समूह की कहानी है, जिन्हें समुद्र में तैरती हुई एक सेक्स-डॉल मिलती है। उसे पाकर वे परेशान हो जाते हैं। फिल्म निर्देशक को उनकी 2011 की फिल्म ऑग्सट ड्रिजिल के लिए जाना जाता है।

12. द कश्मीर फाइल्स (2022)

https://static.pib.gov.in/WriteReadData/userfiles/image/12HD06.jpg

यह हिन्दी फिल्म 1990 को हुए कश्मीरी पंडितों के पलायन पर आधारित है। इसे विवेक अग्निहोत्री ने निर्देशित किया है। कहानी फिल्म के मुख्य पात्र कृष्णा के सहारे आगे बढ़ती है। वह युवा है और एक कॉलेज में पढ़ता है। आगे चलकर उसे अपने माता-पिता की असमय मृत्यु के रहस्य का पता चलता है।

13. नेज़ह (2022)

https://static.pib.gov.in/WriteReadData/userfiles/image/13B45W.jpg

इस फिल्म को वेनिस इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल 2022 में ऑडियन्स अवार्ड मिल चुका है। फिल्म युद्धग्रस्त सीरिया के एक परिवार की कहानी कहती है। फिल्म अरबी भाषा में है। इसमें एक परिवार को दिखाया गया है, जो सीरिया के एक चारों तरफ से घिरे इलाके को न छोड़ने का फैसला करता है। फिल्म निर्देशक सौदादे कादन कहती हैं कि उन्होंने खुद उस समय पहली बार ऐसा अनुभव किया था, जब उनके पड़ोस में बमबारी हुई थी।

14. द स्टोरी-टेलर (2022)

https://static.pib.gov.in/WriteReadData/userfiles/image/14JRLX.jpg

अनन्त महादेवन की यह फिल्म महान फिल्म निर्माता सत्यजित रे के पात्र तारिणी खुरो के बारे में है। कहानी में दिखाया गया है कि कैसे तारिणी खुरो नौकरी से सेवानिवृत्त होने के बाद खुद को अजीब हालत में पाता है और किस्सागो बन जाता है। इस फिल्म को बुसान इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल में प्रीमियर किया गया था और वहीं उसे किम जी-सेयोक पुरस्कार के लिये नामित किया गया था।

15. कुरांगू पेडल (2022)

https://static.pib.gov.in/WriteReadData/userfiles/image/16EXC3.png

यह फिल्म रासी अलगप्पन की लघु कथा ‘साइकिल’ पर आधारित है। निर्देशक कमलकानन की यह फिल्म एक स्कूली बच्चे की कहानी है, जो साइकिल चलाना सीखना चाहता है, जबकि उसके पिता सिखाने में सक्षम नहीं हैं। फिल्म में पांच बच्चों को दिखाया गया है, जिनके सहारे कहानी आगे बढ़ती है। फिल्म के निर्देशक को उनकी 2012 की फिल्म मधुबानाकडाई के लिए जाना जाता है।

यामिनी फिल्म्स के म्यूजिक स्कूल से बॉलीवुड में डेब्यू करेंगे ओजू बरुआ

यामिनी फिल्म्स के म्यूजिक स्कूल से बॉलीवुड में डेब्यू करेंगे ओजू बरुआ

मुंबई। फुटबॉलर से अभिनेता बने ओजू बरुआ शरमन जोशी और श्रेया शरण के साथ बॉलीवुड डेब्यू के लिए पूरी तरह तैयार हैं। पापा राव बियाला द्वारा हैदराबाद स्थित प्रोडक्शन यामिनी फिल्म्स, म्यूजिक स्कूल नामक अपनी अगली संगीत विशेषता के साथ आ रही है, जिसमें ओज़ू ने एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। विपुल संगीतकार और गीतकार इलैयाराजा ने इस परियोजना के लिए 12 मूल गीत लिखे हैं, जहां ओज़ू अपने चरित्र को फुटबॉल खेलने जैसी सहजता के साथ चित्रित करते हुए दिखाई देंगे।

यह फिल्म हमारी प्रचलित शिक्षा प्रणाली के बारे में है और कैसे माता-पिता बच्चों पर अपनी पढ़ाई में प्रतिस्पर्धी होने के लिए दबाव डालते हैं, जिससे कला, संस्कृति या उनके जुनून को आगे बढ़ाने के लिए समय नहीं मिलता है।
‘म्यूजिक स्कूल’ के कलाकारों में शरमन जोशी, श्रिया सरन, ओज़ू बरुआ, ग्रेसी गोस्वामी, सुहासिनी मुले, बेंजामिन गिलानी, प्रकाश राज, विनय वर्मा और कई अन्य जाने-माने चेहरे शामिल हैं।

“व्यक्तिगत रूप से यह फिल्म मेरे लिए बहुत मायने रखती है” ओज़ू बरुआ का कहना है और विज्ञापन “यामिनी फिल्मों के लिए एक बड़ा धन्यवाद, निर्देशक पापा राव सर मुझे ऐसा अवसर देने के लिए। मैंने कभी नहीं सोचा था कि मेरा पहला प्रोजेक्ट इतना भव्य होगा।” फ़ुटबॉलर को इन दिनों फिल्म निर्माण पर अधिक समय बिताना पसंद है!

बचपन से ही, ओज़ू अपने पिता की फ़िल्मों की शूटिंग, विभिन्न फ़िल्म समारोहों, पुरस्कार समारोहों आदि में जाने के लिए उपयोग किया जाता है, हालाँकि वह ‘म्यूज़िक स्कूल’ को एक पूर्ण अलग अनुभव मानता है, क्योंकि पहली बार कैमरे का सामना करना जीवन भर के लिए एक स्मृति है! अभिनेता को एक रचनात्मक परिवार होने और अपने शुरुआती दिनों से ही फिल्म निर्माण से अवगत होने का सौभाग्य मिला है।

ओज़ू पूरी कास्ट और क्रू का आभार व्यक्त करता है, जिन्होंने उन्हें फिल्म और फिल्म निर्माण के बारे में नई चीजें सीखने में मदद की। जब इलैयाराजा की बात आती है, तो ओज़ू के पास अपनी भावनाओं को व्यक्त करने के लिए शब्दों की कमी है, वह जीवित किंवदंती के साथ काम करने के लिए भाग्यशाली महसूस करते हैं, और वह इस फिल्म का हिस्सा होने के कारण इस परियोजना को और अधिक रोमांचक बनाते हैं। इसी तरह सिनेमैटोग्राफर किरण देवहंस ने भी ओज़ू को अपने पेशेवरता और समर्पण से प्रेरित किया है, “मेरे जैसे नए कॉमरेड के लिए, इस तरह की सीखने की परियोजना को प्राप्त करने के लिए आशीर्वाद के अलावा कुछ भी नहीं है, जहां हम सभी एक बड़ा परिवार बन गए” ओज़ू मानते हैं।

फिल्म के विषय पर पूछे जाने पर ओजू का कहना है कि फिल्म आज के समाज के ज्वलंत मुद्दों से निपट रही है और इसलिए यह विषय उनके दिल के बहुत करीब है। हालांकि वह रचनात्मक माता-पिता होने के लिए अपने सितारों को भी धन्यवाद देते हैं, जो उन्हें अपने रास्ते पर चलने के लिए प्रोत्साहित करते हैं। ओज़ू को अपने माता-पिता के साथ फिल्म निर्माण के विभिन्न पहलुओं पर चर्चा करने और जीवन के इस नए चरण का आनंद लेने में समय बिताना पसंद है।
संगीत विद्यालय बच्चों पर अकल्पनीय शिक्षा प्रणाली के दबाव के बारे में है, जिसका उद्देश्य केवल उन्हें डॉक्टर या इंजीनियर बनाना है, कला, संगीत या खेल के लिए समय नहीं छोड़ना है। यह एक अलग तरह की फिल्म है और ओज़ू सभी पाठकों से इसे बेहतर ढंग से समझने के लिए इसे देखने का आग्रह करता है।

मुम्बई के जूहू बीच पर बिहारी फ्रंट संस्था ने किया छठ ब्रती के लिए भव्य आयोजन,सुर और भक्ति का रहा संगम

मुम्बई के जूहू बीच पर बिहारी फ्रंट संस्था ने किया छठ ब्रती के लिए भव्य आयोजन,सुर और भक्ति का रहा संगम

मुम्बई:आस्था के पर्व आज उत्तर भारत के बिहार, झारखंड और यूपी के साथ ही देश विदेश में भी मनाया जा रहा है।आज दक्षिण भारत से लेकर महानगर मुम्बई ,दिल्ली और कोलकाता जैसे जगहों में भी बिहार और यूपी के प्रवासी लोगों द्वारा बड़े हीं धूम धाम से यह पर्व मनाया जा रहा है।

मुम्बई में बिहारी फ्रंट नामक संस्था द्वारा जुहू बीच पर छठ व्रतियों के लिए हर तरह के सुख सुविधाओं का इंतजाम किया गया था ।ताकि बिहार एवं यूपी के लोग श्रद्धा के साथ अर्घ्य दे सके।और उन्हें भगवान सूर्य की पूजा अर्चना करने में किसी प्रकार की कोई तकलीफ ना हो।

पूर्वोत्तर भारत के लोग इस छठ पूजा कार्यक्रम में जुहू बीच पर बड़ी संख्या में भाग लेते हैं। इसकी तैयारी पिछले एक पखवाड़े से लगातार चल रही थी। छठ पूजा के दौरान यहां पर सांस्कृतिक कार्यक्रम का भी आयोजन किया गया। इस बार छठ कार्यक्रम के मुख्य अतिथि के रुप में अभिनेता पंकज त्रिपाठी। भजन संध्या में चंदन तिवारी और प्रिया मल्लिक ने अपनी गायकी पेश की। बिहारी फ्रंट के संस्थापक संजय निरुपम और अध्यक्ष अंजय श्रीवास्तव ने छठ व्रतियों की सुख सुविधाओं के लिए दिन रात एक कर पूरे आयोजन के शानदार बना दिया।

कांग्रेस नेता संजय निरुपम जी के मार्गदर्शन में यह संस्था पिछले 25 वर्षों से यह आयोजन करते आ रहे हैं। इस कार्य क्रम में मुख्य अतिथि अभिनेता पंकज त्रिपाठी. चंदन तिवारी और प्रिया मल्लिक ने अपनी मधुर गायकी से समा बांध दिया। अध्यक्ष अंजय श्रीवास्तव, प्रदीप सिन्हा, संतोष झा, अरुण सिन्हा और पंकज कुमार समेत समस्त बिहारी फ्रंट के सदस्यों और पदाधिकारियों ने पूरी व्यवस्था को कुशलता से सम्भाला।
इस कार्यक्रम के दौरान पूर्वोत्तर भारत के लोगों के अलावे स्थानीय लोग भी काफी।उत्साह के साथ उपस्थित रहे।

मुम्बई से अमरनाथ की रिपोर्ट